निषाद पार्टी की रथ यात्रा का भव्य स्वागत #welcome
Welcome/ देवरिया। 13 जनवरी को निषाद पार्टी अपना 12वा संकल्प दिवस जनपद गोरखपुर में मनाएगी 31 दिसंबर 2024 दिन सोमवार को निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल “निषाद पार्टी” द्वारा संवैधानिक अधिकार यात्रा बत्तीसवें दिन जनपद देवरिया पहुँची। निषाद पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री डॉ संजय कुमार निषाद यात्रा का नेतृत्व कर रहे हैं।
संजय निषाद के नेतृत्व में यात्रा 30 नवम्बर 2024 को माँ शाकुंभरी देवी शक्तिपीठ, जनपद सहारनपुर से संवैधानिक अधिकार यात्रा की शुरुआत की गई है, उन्होंने कहा कि संवैधानिक अधिकार यात्रा प्रदेश के सभी 18 मण्डल, 200 विधानसभा में जाएगी, तीन चरणों में यात्रा अपने अंतिम पड़ाव नई दिल्ली में समापन किया जाएगा। जनपद देवरिया में यात्रा निरीक्षण भवन से बैतालपुर से सिरजम चौराहा से भगुआ से लंगड़ी चौराहा से गौरी बाज़ार चौक से इन्दुपुर चौराहा से कटाई चौराहा से अवधपुर (जनसभा) से राम लक्षण चौराहा से लक्ष्मीपुर चौराहा से पिपरा चौराहा से छपोली से रूद्रपुर से फ़तेहपुर से तिवई से सरौरा से ककरारी चौराहा से सोनुघाट से ख़ुख़ूँदू चौराहा से मइल चौराहा से भागलपुर (जनसभा) होते हुए जनपद बलिया के लिए प्रस्थान।
उन्होंने निषाद ने मंच से संबोधित करते हुए कहा कि आज कल लोग पूछते हैं कि सरकार में होने के बाद में आप संवैधानिक अधिकार यात्रा क्यों निकाल रहे हैं, तो मैं उनको बताना चाहूँगा की निषाद पार्टी का गठन मछुआ समाज के हक़-हकूक एवं मान-सम्मान को दिलाने के लिए किया गया था, पूर्व की सरकारों ने मछुआ समाज को केवल वोट बैंक की तरह इस्तेमाल किया था, अगर पूर्ववर्ती सरकारों ने मछुआ समाज पर इतना अत्याचार नहीं किया होता तो वो कभी निषाद पार्टी बनाने का संकल्प नहीं लेते, किंतु मछुआ समाज के हक़-अधिकार पर डाका डालकर पूर्ववर्ती सरकारों ने मछुआ समाज का दोहन किया है।
आज केंद्र व प्रदेश सरकार मछुआ समाज के हित में कई कदम उठा रही है और संवैधानिक अधिकार रथ यात्रा मछुआ समाज को आरक्षण के प्रति जागरूक और आरक्षण नहीं मिलने तक एकता बनाये रखने के संदेश के लिए निकली जा रही है साथ ही निषाद पार्टी द्वारा आरक्षण को लेकर उठाए गए सभी कदम से समाज को जागरूक भी किया जा रहा है। उन्होंने मछुआ समाज से अपील करते हुए कहा कि मझवार आरक्षण नहीं मिलने तक सभी को एकता बनाये रखनी होगी और समाज एवं निषाद पार्टी विरोधी नेताओं से बचकर अपने आरक्षण के मुद्दे की शांतिपूर्वक लड़ाई लड़नी होगी।
उन्होंने को संबोधित करते हुए कहा कि देवरिया में जनपद में आज हुए स्वागत से लग रहा है कि निषाद पार्टी अपने लक्ष्य और संकल्प पर आज भी अडिग है, क्योंकि जनपद में लगातार निषाद पार्टी के विरोध में कुछ सरकार विरोधी लोग नीत नये नये काम करते रहते हैं किंतु आज मछुआ समाज के मिले आशीर्वाद से लग रहा है की मछुआ समाज इतने षड्यंत्रों के बावजूद भी निषाद पार्टी के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा और अपने मछुआ आरक्षण को लेकर निषाद पार्टी के संकल्प के साथ आगे बढ़ भी रहा है।
मत्स्य मंत्रालय को पूर्व के मंत्रियों और सरकारों ने केवल अपनी महत्वाकांक्षा पूर्ण करने के लिए इस्तेमाल किया है। मत्स्य विभाग के सहकारिता नियमों में पहली बार अप्रत्याशित परिवर्तन करवायें गये है, पहले के मंत्रियों ने नियम बनाया था की ग्राम समाज के एक ही परिवार ग्राम समाज से लेकर सभी जल संसाधनों पर अधिकार रखेगा किंतु मत्स्य मंत्री बनने के बाद मत्स्य पालन क्षेत्र में एकाधिकार नीति को समाप्त करके, मछुआ समाज के लोगो के लिए नये रोज़गार के साधन देने का काम किया है।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के समक्ष मछुआ समाज के चिकित्सा, आवास, शिक्षा, विवाह जैसे अन्य गंभीर समस्याओं और धन के आभाव को लेकर अपनी बात रखी और उत्तर प्रदेश में मत्स्य पालक कल्याण कोष की स्थापना करने वाला देश का प्रथम राज्य बना है, श्री निषाद जी ने कहा कि आज निषाद समाज अपनी समस्याओं को लेकर किसी अन्य के भरोसे नहीं है, क्योंकि मछुआ समाज के मत्स्य विभाग के पास अपना कल्याण कोष है।
अब निषाद समाज को चिकित्सा एवं शिक्षा लाभ के लिए चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे सीधा मत्स्य विभाग आये और मत्स्य विभाग से अपनी समस्याओं का हल करवाये। उन्होंने कहा देवरिया जनपद का निषाद पार्टी के गठन से लेकर आज तक से भावनात्मक रिश्ता रहा है और जब भी केंद्र व राज्यसरकार के मत्स्य पालन क्षेत्र के बजट आवंटन की फाइल आती है तो प्रदेश के बजट का अंश सबसे अधिक गोरखपुर मण्डल के मछुआ समाज के विकास के लिया दिया जाता है।